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Importance of Surya Arghya । सूर्य को अर्घ्य देने का महत्व और जल चढ़ाने की विधि


Surya Arghya Benefits: हिंदू धर्म में रोज सुबह सूर्य को जल चढ़ाने की परंपरा सदियों से चली आ रही है. इसे सूर्य अर्घ्य कहा जाता है. ये सिर्फ एक धार्मिक क्रिया नहीं है बल्कि इसके पीछे कई वैज्ञानिक, आध्यात्मिक और सेहत से जुड़ी बातें भी छिपी हैं. माना जाता है कि जो व्यक्ति सूरज को रोज जल चढ़ाता है, उसकी सेहत बेहतर रहती है, मन शांत रहता है और दिन की शुरुआत पॉजिटिव एनर्जी के साथ होती है. घर में सुख-शांति बनी रहती है और मानसिक तनाव दूर होता है. यही वजह है कि चाहे व्रत हो, त्योहार या रोज की दिनचर्या, हिंदू परिवारों में सुबह उठकर सूर्य को अर्घ्य देना बेहद शुभ माना जाता है. ज्योतिषाचार्य अंशुल त्रिपाठी के अनुसार, सूर्य को जल चढ़ाने से सिर्फ पाप ही नहीं धुलते बल्कि ग्रहों की दशा भी मजबूत होती है और जीवन में अच्छे मौके खुद चलकर आते हैं.

सूर्य अर्घ्य का धार्मिक महत्व
सूर्य को हिन्दू धर्म में देवता का दर्जा दिया गया है. उन्हें साक्षात भगवान विष्णु और ब्रह्मा का स्वरूप माना गया है. वे ही ऐसे देव हैं जो प्रत्यक्ष रूप से दिखाई देते हैं और हमें जीवन, प्रकाश और ऊर्जा देते हैं. यही कारण है कि उन्हें दिन की शुरुआत में नमस्कार और अर्घ्य देकर सम्मान दिया जाता है. कई धार्मिक ग्रंथों में सूर्य देव को अर्घ्य देने से पापों का नाश और पुण्य की प्राप्ति का उल्लेख मिलता है.

वैज्ञानिक नजरिए से क्यों फायदेमंद है
जब हम सुबह खुले आसमान के नीचे खड़े होकर सूर्य की ओर मुख करके जल अर्पित करते हैं, तो हमारे शरीर को प्राकृतिक विटामिन D मिलती है. यह हड्डियों को मजबूत करती है और इम्युनिटी को बढ़ाती है. साथ ही सूर्य की पहली किरण आंखों और दिमाग पर भी सकारात्मक असर डालती है. जब हम तांबे के लोटे से जल अर्पित करते हैं, तो यह धातु शरीर के भीतर संतुलन बनाने में मदद करती है.

सूर्य अर्घ्य देने का सही तरीका
सुबह जल्दी उठकर स्नान कर लें और साफ कपड़े पहनें. पूर्व दिशा की ओर मुख करके, एक तांबे के लोटे में साफ जल लें. उसमें थोड़ा सा लाल चंदन, अक्षत (चावल) और एक फूल डाल सकते हैं. फिर सूर्य की पहली किरण पर नजर रखते हुए दोनों हाथों से धीरे-धीरे जल अर्पित करें. जल गिरते समय हाथ जोड़कर “ॐ सूर्याय नमः” या “ॐ आदित्याय नमः” मंत्र बोलें.

कौन-कौन से लाभ मिलते हैं सूर्य को जल चढ़ाने से

  • 1. मानसिक तनाव और बेचैनी कम होती है.
  • 2. सेहत बेहतर रहती है, खासकर त्वचा और हड्डियों से जुड़ी समस्याएं नहीं होतीं.
  • 3. आत्मविश्वास और निर्णय लेने की शक्ति बढ़ती है.
  • 4. सूर्य ग्रह की स्थिति मज़बूत होती है, जिससे नौकरी, करियर और धन से जुड़ी समस्याएं दूर होती हैं.
  • 5. घर में पॉजिटिव एनर्जी बनी रहती है.
  • 6. संतान सुख की प्राप्ति के लिए भी ये उपाय फायदेमंद होता है.
  • 7. सूरज की पूजा करने से आलस दूर होता है और दिन भर एक्टिव रहने में मदद मिलती है.
  • सूर्य अर्घ्य का ज्योतिषीय महत्व
    ज्योतिष में सूर्य को आत्मा, सम्मान, पिता और सरकारी सेवा का कारक माना गया है. जिन लोगों की कुंडली में सूर्य कमजोर होता है, उन्हें बार-बार फेलियर, आत्मविश्वास की कमी और मानसिक भ्रम जैसी समस्याएं आती हैं. ऐसे लोगों को रोज सूरज को जल चढ़ाने की सलाह दी जाती है. यह उपाय उनकी कुंडली में सूर्य को मज़बूत करता है और जीवन में स्थिरता लाता है.

    किन्हें नियमित रूप से अर्घ्य देना चाहिए
    जिन लोगों को नौकरी में प्रमोशन नहीं मिल रहा हो. जिनका आत्मविश्वास बार-बार डगमगाता हो. जो सरकारी नौकरी की तैयारी कर रहे हों. जिनके घर में बार-बार क्लेश या आर्थिक समस्या रहती हो. जिनकी सेहत बार-बार बिगड़ती हो.

    सूर्य को अर्घ्य देना एक ऐसा सरल लेकिन असरदार उपाय है जो हर उम्र, हर परिस्थिति और हर जाति-धर्म के व्यक्ति के लिए फायदेमंद है. इसे अपनाकर आप न सिर्फ आध्यात्मिक लाभ पा सकते हैं, बल्कि शारीरिक और मानसिक रूप से भी मज़बूत बन सकते हैं. रोज़ सुबह बस 5 मिनट का यह छोटा-सा नियम आपके पूरे दिन को सकारात्मक और ऊर्जावान बना सकता है.



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